देखो जिधर ,उधर दुनिया में,श्वेत रंग की बहुत कदर है
गौर करोगे तो पाओगे ,गोरेपन में बहुत असर है
सूरज श्वेत ,श्वेत है चन्दा ,करते जो दुनिया को रोशन
चन्दा का टुकड़ा कहलाता है गौरी का गोरा आनन
दूध,दही,घी और शर्करा ,होता सबका श्वेत रंग है
सदा चढ़ाये जाते प्रभु को,पंचामृत के चार अंग है
पूजन हो या हवन सभी में ,आता काम,श्वेत है चांवल
मस्तक पर रोली के टीके में भी शोभा पाता चांवल
चांवल जैसी कदर न पाता ,गेंहू भी तो है अक्षत अन्न
दीपक तले बिछाया जाता, उसको जब होता है पूजन
गोरों का ही राज चल रहा ,छाये गोरे दुनिया भर है
देखो जिधर उधर दुनिया में ,श्वेत रंग की बहुत कदर है
मदन मोहन बाहेती'घोटू'