Wednesday, March 6, 2013

मेरो दरद न जाने कोई

              घोटू के पद
       मेरो दरद न जाने कोई 

हे री मै तो ,अति पछताती ,मेरो दरद न जाने कोई
घायल की गति,घायल जाने ,और न जाने   कोई
मंहगाई काटन को दौड़त,निसदिन जनता रोई
खानपान के दाम बढ़ गए ,मंहगी गेस रसोई 
रेल किराया ,बहुत बढ़ गया ,पिया मिलन कब होई
सत्ता में जिनको बैठाया ,फिकर  क़ा रे नहीं कोई
'घोटू'अब तो तब निपटेंगे ,नफीर चुनाव जब होई

मदन मोहन बाहेती 'घोटू'

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