बुरी गत देखली
केश उजले ,झुर्राया तन ,ऐसी हालत देखली
पिलपिलाये चेहरे की,पीली रंगत देखली
नरम है और पक गया पर स्वाद मीठा आम है,
चखोगे तो ये लगेगा ,तुमने जन्नत देखली
कभी इस पर भी बहारों का नशा था,नूर था,
वक़्त ने जब सितम ढाया ,ये मुसीबत देखली
महकते थे गुलाबों से ,बन गए गुलकन्द अब ,
स्वाद ना,तुमने तो बस,बदली सी सूरत देखली
आपकी रुसवाई ने इस दिलके टुकड़े कर दिए,
हमने जीते जी हमारी ,ये बुरी गत देखली
घोटू
केश उजले ,झुर्राया तन ,ऐसी हालत देखली
पिलपिलाये चेहरे की,पीली रंगत देखली
नरम है और पक गया पर स्वाद मीठा आम है,
चखोगे तो ये लगेगा ,तुमने जन्नत देखली
कभी इस पर भी बहारों का नशा था,नूर था,
वक़्त ने जब सितम ढाया ,ये मुसीबत देखली
महकते थे गुलाबों से ,बन गए गुलकन्द अब ,
स्वाद ना,तुमने तो बस,बदली सी सूरत देखली
आपकी रुसवाई ने इस दिलके टुकड़े कर दिए,
हमने जीते जी हमारी ,ये बुरी गत देखली
घोटू
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