Wednesday, May 25, 2011

थकान का सुख

थकान का सुख
------------------
थकान,
है एक शारीरिक स्तिथि
और सुख ,
एक मानसिक अनुभूति
थकान का भी एक सुख होता है
जिसका स्वाद,
गूंगे के गुड की तरह,
बिना थके प्राप्त नहीं होता
जो सुख थके हुए रही को,
मंजिल पर पहुँचने पर,
या दिन भर के  परिश्रम के बाद,
मजदूरी मिलने पर,
पति पत्नी के मधुर संबंधों में,
या प्रसव के बाद,
नवजात शिशु को देख कर
माँ की आँखों में झलकता है
वो थकान का सुख ही तो है,
जिसमे संतोष छलकता है
जो लोग बिना थके सुख पाते है
जल्दी ही,सुख से थक जाते है

मदन मोहन बहेती 'घोटू'

No comments:

Post a Comment